SARAL GITA (Hindi Edition)
MAHESH SHARMA‘गीता’ संसार का एक महानतम ग्रंथ है। इसे हिंदू धर्म के सीमित दायरे में बाँधकरनहीं देखा जा सकता, क्योंकि संसार की अनेक भाषाओं में इसकाअनुवाद हो चुका है और संसार के करोड़ों-अरबों लोग इसमें बताए गए जीवन-दर्शन काअनुसरण कर सुखपूर्वक जीवनयापन कर रहे हैं। ‘गीता’ एक ऐसा ग्रंथ है, जो विलक्षण रहस्यों से भरा हुआ है।इसे आप जितनी बार पढ़ेंगे उतनी ही बार आपको नए-नए अर्थ, नए-नएभाव और नए-नए तर्क निकलते प्रतीत होंगे। भगवान् श्रीकृष्ण और अर्जुन के संवाद सेउपजा यह ग्रंथ द्वापर युग से आज तक अनेक संत-महात्माओं का मार्गदर्शन करता आ रहाहै। अनेक साधारण लोग इसकी शिक्षाओं पर चलकर महान् बने हैं। मीरा, सूर, चैतन्य से लेकर महात्मा गांधी तक भगवद्गीता सेजीवन-शक्ति ग्रहण करते रहे हैं। प्रस्तुत पुस्तक में गीता के उपदेशों को सरल वसुगम शब्दों में प्रस्तुत किया गया है, जिससे कि यह बड़ों केसाथ-साथ बच्चों के लिए भी उपयोगी बन सके। इसमें ‘गीता’के अठारह अध्याय और सात सौ श्लोकों के शब्दार्थ के स्थान पर भावार्थको प्रमुखता दी गई है, ताकि जनसामान्य भी इनके भावों औरशिक्षाओं को सहजता से ग्रहण कर सकें। प्रस्तुत है कर्तव्य, न्याय,सदाचार, पारस्परिक संबंध, अध्यात्म, वैराग्य, मोह-विरक्तिएवं मुक्ति का मार्ग प्रशस्त करनेवाली सरल गीता।